डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को जलवायु परिवर्तन शिखर सम्मेलन 2021 में हिस्सा लिया। इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि जलवायु परिवर्तन आज की तारीख में पहले से कहीं अधिक महत्व रखता है और विकास के लिए भारत के प्रयासों में इसकी अहम भूमिका है। हमने खुद से वादा किया है कि हम न केवल अपने पेरिस समझौते के लक्ष्यों को पाएंगे बल्कि उनसे आगे निकलेंगे।
पीएम ने कहा, हमारी पहल केवल भारत तक सीमित नहीं हैं। इंटरनेशनल सोलर अलायंस ऑफ कोएलिशन फॉर डिजास्टर रेजिलिएंट इन्फ्रास्ट्रक्चर ने ग्लोबल क्लाइमेट पार्टनरशिप को मजबूत किया है। मैं वैश्विक आयोग से वैश्विक स्तर पर बुनियादी ढांचे में लचीलापन बढ़ाने के लिए सीडीआरआई के साथ काम करने की अपील करता हूं।
पीएम ने कहा, हमारा 2030 तक 450 गीगावॉट नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता करने का लक्ष्य है। हम LED को प्रमोट कर रहे हैं और सालाना 38 मिलियन टन कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जन की बचत कर रहे हैं। हम 2030 तक डीग्रेडेड लैंड के 26 मिलियन हेक्टेयर को रिस्टोर करने जा रहे हैं।
पीएम ने कहा, हम 18 मिलियन ग्रामीण परिवारों को स्वच्छ खाना पकाने का ईंधन प्रदान कर रहे हैं। हम 64 मिलियन घरों में पाइप जलापूर्ति से जुड़े हैं और हमारी ये पहल केवल भारत तक ही सीमित नहीं है बल्कि अंतरराष्ट्रीय है। पीएम ने सभी को इस साल के अंत में भारत में डिजास्टर रेजिलेंट इंफ्रास्ट्रक्चर पर होने वाली तीसरी अंतरराष्ट्रीय कॉन्फ्रेंस में हिस्सा लेने के लिए आमंत्रित भी किया।
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